शब्द का अर्थ
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					सादा					 :
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					वि० [सं० साधु से फा० साद] [स्त्री० सादी] १. जिसमें एक ही तत्त्व हो या एक ही प्रकार के तत्त्व हों। जिसमें औरों का मेल या योग न हो। जैसे—सादा पानी। २. जिसमें किसी तरह की उलझन, झंझट, पेंच की बात या बनावट न हो। सरल। जैसे—सादा हिसाब। ३. जिसकी बनावट या रचना में स्वाभाविकता ही हो, विशेष कौशल न हो। ४. जिस पर किसी तरह के बेल-बूटे, सजावट आदि का काम न हो। जिस पर किसी प्रकार का अंकन न हो। जैसे—सादे कपड़े, सादा कागज। ५. जिसे समझनें मे विशेष कठिनता न हो। ६. (व्यक्ति) जो छल-कपट से रहित हो। सरल। सीधा। (सिम्पुल) पद—सीधा-सादा। (देखें) ७. बुद्धि और विवेक से रहित। ना-समझ। मूर्ख। (पश्चिम) जैसे—यहाँ कौन सा सादा है जो तुम्हारी ये बातें मान लेगा।				 | 
			
			
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					सादात					 :
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					पुं० [अ०] सैयद जाति या वंश।				 | 
			
			
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					सादापन					 :
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					पुं० [फा० सादा+हिं० पन (प्रत्य०)] सादगी। (दे०)				 | 
			
			
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					सादाशिव					 :
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					वि० [सं० सदाशिव+अव्] सदाशिव-संबंधी।				 | 
			
			
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