शब्द का अर्थ
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पीवर :
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वि० [सं०√प्यौ (वृद्धि)+ष्वरच्, संप्रसारण, दीर्घ] [स्त्री० पीवरा] [भाव० पीवरता, पीवरत्व] पीन (दे० सभी अर्थों में)। पुं० १. कछुआ। २. जटा। ३. तापस मन्वन्तर के सप्तर्षियों में से एक। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पीवर :
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वि० [सं०√प्यौ (वृद्धि)+ष्वरच्, संप्रसारण, दीर्घ] [स्त्री० पीवरा] [भाव० पीवरता, पीवरत्व] पीन (दे० सभी अर्थों में)। पुं० १. कछुआ। २. जटा। ३. तापस मन्वन्तर के सप्तर्षियों में से एक। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पीवरा :
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स्त्री० [सं० पीवर+टाप्] १. असगंध। २. सतावर। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पीवरा :
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स्त्री० [सं० पीवर+टाप्] १. असगंध। २. सतावर। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पीवरी :
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स्त्री० [सं० पीवर+ङीष्] १. सतावर। शालिपर्णी। वर्हिषद् नामक पिता की मानसी कन्याओं में से एक। ४. युवती स्त्री। ५. गाय। गौ। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पीवरी :
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स्त्री० [सं० पीवर+ङीष्] १. सतावर। शालिपर्णी। वर्हिषद् नामक पिता की मानसी कन्याओं में से एक। ४. युवती स्त्री। ५. गाय। गौ। |
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समानार्थी शब्द-
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