शब्द का अर्थ
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अमिल :
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वि० [सं० अ-नहीं+हिं० मिलना] [भाव० अमिलता, अमिलताई] १. न मिलने अर्थात् न प्राप्त होनेवाला। २. (व्यक्ति) जो दूसरों के साथ मिलता-जुलता न हो। ३. (वस्तु) जो दूसरे के साथ मेल न खाये या न मिले। ४. ऊँचा-नीचा। ऊबड़-खाबड़।(यह शब्द केवल पद्य में प्रयुक्त हुआ है) |
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समानार्थी शब्द-
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अमिल-पट्टी :
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स्त्री० [हिं० अमिल+पट्टी-जोड़] सिलाई में, एक प्रकार की चौड़ी तुरपन। |
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अमिलता :
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स्त्री० [हिं० अमिल+ता(प्रत्यय)] अमिल होने का भाव। बिलकुल अलग या बे-मेल होने की अवस्था या भाव। स्त्री० दे० ‘अम्लता’।(यह शब्द केवल पद्य में प्रयुक्त हुआ है) |
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अमिलताई :
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स्त्री०=अमिलता।(यह शब्द केवल पद्य में प्रयुक्त हुआ है) |
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अमिलतास :
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पुं०=अमलतास। |
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अमिलित :
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वि० [सं० न० त०] जो मिला हुआ न हो, अर्थात् अलग या पृथक।(यह शब्द केवल पद्य में प्रयुक्त हुआ है) |
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अमिलिया :
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पुं० [हिं० इमली] इमली के रंग का एक प्रकार का पटसन। |
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अमिली :
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स्त्री० [सं० अ=नहीं+मिलना] किसी के साथ आपसदारी या मेल-मिलाप न होने की अवस्था या भाव। उदाहरण—जहँ अमिली पाकै हिय माँहाँ। तहँ न भाव नौरंग कै छाहाँ।—जायसी। स्त्री०=इमली।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है) |
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