शब्द का अर्थ
			 | 
		
					
				| 
					परमेष्ठ					 :
				 | 
				
					पुं० [सं० परमे√स्था (ठहरना)+क, अलुक्, स०] चतुर्मुख ब्रह्म। प्रजापति। (यजु०)				 | 
			
			
				 | 
				समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं				 | 
				
			
			
					
				| 
					परमेष्ठिनी					 :
				 | 
				
					स्त्री० [सं० परमेष्ठिन्+ङीप्] १. परमेष्ठी की शक्ति। देवी। २. श्री। ३. वाग्देवी। सरस्वती। ४. ब्राह्मी नाम की वनस्पति।				 | 
			
			
				 | 
				समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं				 | 
				
			
			
					
				| 
					परमेष्ठी (ष्ठिन्)					 :
				 | 
				
					पुं० [सं० परमे√स्था+इनिस, अलुक् स०] १. ब्रह्मा, अग्नि आदि देवता। २. तत्त्व। भूत। ३. प्राचीन काल का एक प्रकार का यज्ञ। ४. शालिग्राम की एक विशिष्ट प्रकार की मूर्ति। ५. विराट् पुरुष जो परम-ब्रह्म का एक रूप है। ६. चाक्षुष मनु का एक नाम। ६. गरुड़। ८. जैनों के एक जिन देव। परमेसर।				 | 
			
			
				 | 
				समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं				 |