शब्द का अर्थ
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धर्मोन्माद :
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पुं० [धर्म-उन्माद, तृ० त०] १. वैद्यक के अनुसार एक प्रकार का उन्माद या पागलपन, जिसमें मनुष्य दिन-रात धर्म-सम्बन्धी कार्यों या विचारों में मग्न रहता है। २. मनुष्य की वह मानसिक अवस्था जिसमें वह धर्म के नाम पर अंधा होकर भले-बुरे का विचार छोड़ देता है। (थियोमेनिया) |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
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